From 2 lakh weekly visitors to Rs 250 crore annual donations, Khatu Shyam temple in Rajasthan's Sikar draws massive crowds and investment, with govt pumping Rs 350+ crore into infrastructure.
For India, this is not an opportunity for schadenfreude but rather a reflection of shared responsibility. It's what happens when the governance framework underpinning economic growth is weakened.
Research paper, however, finds lowest indebtedness level among Muslims at 12.3% & highest among Hindus at 14.9%. Overall national financial inclusion level at 87.2%, indebtedness at 14.7%.
Fresh details of operation conducted by IAF, Army have come out in gazette notification giving citations of those who were awarded Vir Chakra for their bravery.
On 21 Oct, a buzz went up that the govt had released full list of gallantry award recipients along with Op Sindoor citations. I put an AI caddy on the job. It took me into a never-ending rabbit hole.
भारत में मंदिर ज्ञान का केंद्र होने चाहिए न की अंधश्रद्धा का।मंदिर लोगो को आत्मज्ञान की तरफ प्रेरित करने चाहिए।ये सब चीजें धर्म के नाम पर की जा रही है जब की ये अहंकार को बढ़ावा देने का कार्य कर रही है।धर्म के नाम पर अधर्म का प्रचार हो रहा है।ये सब चीजें अशिक्षित समाज में ही चल सकती है।नेता लोग इस प्रकार की चीजों को बढ़ावा देते है और पैसा भी खूब देते है।क्योंकि लोगों को जितना मूर्ख रखा जाएगा इन नेताओ का फायदा होगा।अशिक्षित लोगों पर शासन करना आसान होता है।इसीलिए ये नेता लोग शिक्षा को लचर अवस्था में रखते है।धर्मगुरुओं का भी फायदा इसी में है की शिक्षा को लचर रखा जाए।वास्तव में ये लोग अधर्मगुरु है।इतना पैसा लोगों को शिक्षित करने में लगाया जाए। लोगों को वेदांत की शिक्षा दी जाए।लोगों को संत साहित्य,श्रीमदभगवद्गीता,उपनिषद पढ़ाए जाए।वेदांत पढ़ने के बाद ये मूर्खताएं अपनेआप बंद हो जाएगी।
भारत में मंदिर ज्ञान का केंद्र होने चाहिए न की अंधश्रद्धा का।मंदिर लोगो को आत्मज्ञान की तरफ प्रेरित करने चाहिए।ये सब चीजें धर्म के नाम पर की जा रही है जब की ये अहंकार को बढ़ावा देने का कार्य कर रही है।धर्म के नाम पर अधर्म का प्रचार हो रहा है।ये सब चीजें अशिक्षित समाज में ही चल सकती है।नेता लोग इस प्रकार की चीजों को बढ़ावा देते है और पैसा भी खूब देते है।क्योंकि लोगों को जितना मूर्ख रखा जाएगा इन नेताओ का फायदा होगा।अशिक्षित लोगों पर शासन करना आसान होता है।इसीलिए ये नेता लोग शिक्षा को लचर अवस्था में रखते है।धर्मगुरुओं का भी फायदा इसी में है की शिक्षा को लचर रखा जाए।वास्तव में ये लोग अधर्मगुरु है।इतना पैसा लोगों को शिक्षित करने में लगाया जाए। लोगों को वेदांत की शिक्षा दी जाए।लोगों को संत साहित्य,श्रीमदभगवद्गीता,उपनिषद पढ़ाए जाए।वेदांत पढ़ने के बाद ये मूर्खताएं अपनेआप बंद हो जाएगी।